Ibrahim Suri Tomb | जाने इब्राहिम सूरी के मकबरे का इतिहास

भारत में मुग़ल साम्राज्य की स्थापना के पश्चात बाबर ने जब अपनी सैन्य शक्ति और राज्य विस्तार के बारे में सोचा तब तक उसकी मृत्यु हो चुकी थी। मुग़ल साम्राज्य के अगले वारिस के रूप में जब हुमायूँ राजगद्दी पर बैठा तब उसके सामने वही चुनौती आयी जो उसके पिता बाबर के सामने आयी थी।
उसने भी अपने साम्राज्य के विस्तार और सैन्य शक्ति को बढ़ने के लिए प्रयास करना प्रारम्भ किया लेकिन वह इतना दयालु और परोपकारी था जिससे उसके सारे कार्य धीरे-धीरे विफल होने लगे। वह अपनी दयालुता और परोपकारी होने के कारण अपना राज्य अपने तीन भाइयों में क्रमशः बाँट दिया जिसका अर्थ हुआ की मुग़ल साम्राज्य बनने के पहले ही पहले ही बिखरा गया था जिसका परिणाम यह हुआ की हुमायूँ न तो अपने साम्राज्य को सुदृण बना पाया और ना ही वह पारिवारिक सुख भोग पाया। अक्सर युद्ध में ही जीवन व्यतीत करने लगा।उसके इसी परिस्थिति का लाभ एक अफगान राजा शेरशाह सूरी ने उठाया।

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एतमाद -उद-दौला मकबरे का इतिहास और उसकी वास्तुकला | Itmad-ud-Daula Agra

Itmad-ud-Daula Agra | नूरजहां के माता पिता का मकबरा- एतमाद -उद-दौला

एतमाद -उद-दौला का मकबरा उत्तर प्रदेश के आगरे में स्थित है। इस मकबरे की स्थापना मुग़ल बादशाह जहांगीर ने, बेगम नूरजहां के माता-पिता के सम्मान में बनाया गया था। यह मकबरा ताजमहल की तर्ज पर बनाया गया था लेकिन यह उतना प्रभवि ढंग से निर्माण नहीं हो पाया था, लेकिन इसकी बनावट और कलाकारी को देखकर हर कोई प्रभावित हो जाता है। यही कारण है की इस मकबरे को छोटा ताजमहल या बेबी ताजमहल के नाम से जाना जाता है।

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बीबी का मकबरा का इतिहास एवं उसकी वास्तुकला | Tomb of the Lady in Hindi

Tomb of the Lady in Hindi | बीबी का मकबरा का इतिहास

बीबी का मकबरा महाराष्ट्र के औरंगाबाद शहर में स्थित है। इसका निर्माण ताजमहल की तर्ज पर बनाया गया था, यानि इसकी स्थापत्य कला हूबहू ताजमहल से मिलती है। सबसे विचित्र बात इस मकबरे को ताजमहल की फूहड़ रूप यानि बिगड़ा हुआ रूप के रूप में जाना जाता है।

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Charminar : Tourist attraction | विश्वप्रसिद्ध चारमीनार का इतिहास

Charminar : Tourist attraction | विश्वप्रसिद्ध चारमीनार का इतिहास

विश्वप्रसिद्ध चारमीनार तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद में स्थित है। इस प्रसिद्ध इमारत में चार मीनार स्थित है जिस वजह से इसका नाम चारमीनार पड़ा। चारमीनार ना सिर्फ एक ऐतिहासिक इमारत है बल्कि यह एक मस्जिद भी है।

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अकबर के मकबरे का इतिहास और उसकी वास्तुकला | Akbar tomb in Hindi

Akbar tomb in Hindi | अकबर का मकबरा

मुग़ल बादशाह अकबर का मकबरा उत्तर प्रदेश के आगरा में स्थित है। यह मकबरा आगरा से 4 किमी दूर सिकंदरा में स्थित है। इस मकबरे का निर्माण स्वय अकबर ने करवाया था लेकिन अपने जीते जी इस मकबरे का निर्माण पूरा होते न देख पाया। बाद में उसके पुत्र जहांगीर ने थोड़े परिवर्तन के साथ इस मकबरे का निर्माण पूर्ण कराया।

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संगीत सम्राट तानसेन के मकबरे का इतिहास और उसकी वास्तुकला | Tansen tomb in Hindi

Tansen tomb in Hindi | तानसेन का मकबरा

तानसेन का मकबरा मध्य प्रदेश के ग्वालियर में स्थित है। मध्य प्रदेश का यह ग्वालियर शहर अपनी ऐतिहासिक धरोहरों को संजोकर रखने के कारण प्रसिद्ध है। इसी ग्वालियर शहर में तानसेन जी और उनके गुरु मोहम्मद गौस दोनों की ही कब्र स्थापित है।

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Sheikh chilli’s Tomb in Hindi | शेख चिल्ली का मकबरा

Sheikh chilli's Tomb in Hindi | शेख चिल्ली का मकबरा

शेख चिल्ली का मकबरा भारत के हरियाणा राज्य के थानेसर में स्थित है। इस मकबरे का निर्माण मुग़ल बादशाह शाहजहां के बड़े पुत्र दारा शिकोह के द्वारा किया गया था। इस मकबरे में शेख चिल्ली के आलावा उनकी बेगम की भी कब्र बनी है।

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हुमायूँ के मकबरे का इतिहास और उसकी वास्तुकला | Humayun Tomb

all about Humayun’s Tomb | हुमायूँ का मकबरा | Place review in Hindi

हुमायूँ का मकबरा भारत की राजधानी दिल्ली में स्थित है। यह मकबरा दीन पनाह यानि पुराने किले के पास ही में स्थित है। इस मकबरे के पास ही में कई अन्य मुग़ल राजवंश के मकबरे भी स्थित है।

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ताजमहल का इतिहास और उसकी वास्तुकला Taj Mahal Architecture

all about Taj Mahal Agra | मोहब्बत और खूबसूरती की निशानी है ताजमहल

ताजमहल उत्तर प्रदेश के आगरा में स्थित है। यह गंगा नदी की सहायक नदी यमुना नदी के किनारे पर स्थित है। यह एक मकबरा है, जिसे मुग़ल बादशाह शाहजहां ने अपनी बेगम मुमताज महल की याद में बनवाया था।

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शेरशाह सूरी के मकबरे का इतिहास और उसकी वास्तुकला | Sher shah suri tomb

all about Sher shah suri tomb | कैसा है शेरशाह का मकबरा बिहार | Place review in Hindi

भारत में मुग़ल साम्राज्य की स्थापना के पश्चात बाबर ने जब अपनी सैन्य शक्ति और राज्य विस्तार के बारे में सोचा तब तक उसकी मृत्यु हो चुकी थी। मुग़ल साम्राज्य के अगले वारिस के रूप में जब हुमायूँ राजगद्दी पर बैठा तब उसके सामने वही चुनौती आयी जो उसके पिता बाबर के सामने आयी थी।
उसके इसी परिस्थिति का लाभ एक अफगान राजा शेरशाह सूरी ने उठाया। उसके राजवंश का नाम था – सुर वंश उसने हुमायूँ को कई बार युद्ध में पराजित करके उसे भारत से बाहर खदेड़ा। शेरशाह सूरी कहा करता था की अगर उसे कुछ भारतीय राजाओ का सहयोग प्राप्त हो जाये तो वह मुग़लों के भारत से बाहर खदेड़ देगा।

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