भीमबेटका की गुफाओ का इतिहास एवं उसकी वास्तुकला | Bhimbetka rock shelters

दोस्तों प्राचीन कल में जब मनुष्यों के पास अपनी कोई भाषा या बोली नहीं थी और जाहिर सी बात है तब के मनुष्य जाति उतनी विकसित नहीं हुयी थी जितनी की आज है।

जंगली जानवरों और प्राकृतिक आपदाओं से बचाव के लिए तब के मनुष्यों ने पहाड़ों एवं गुफाओं का सहारा लिया। इन्ही गुफाओं में वह रहते और अपने दैनिक दिनचर्या को करते थे।

एक बात और थी तब उस समय किसी भाषा या बोली का विकास नहीं हुआ था जिस वजह से वह अपनी बातों को उतना सुचारु ढंग से प्रदर्शित नहीं कर पाते थे जितना की आज हम लोग कर पाते है।

प्राचीन मनुष्यों ने अपने भावनाओं और जीवनचर्या को एक रूप देने के लिए इन्ही गुफाओं और पत्थरों पर कलाकृति या सांकेतिक भाषा का प्रयोग करने लगे।

जिसका अर्थ यह हुआ की अब लोग भाषा तो नहीं लेकिन अपनी कलाकृति और सांकेतिक कला के कारण अब एक दूसरे से कम्यूनिकेट करने लगे। यह तो एक शुरुआत भर थी।

तो दोस्तों आइये चलते है ऐसे ही एक प्राचीन और अनोखे गुफा यानी की Bhimbetka की यात्रा पर जहाँ पर हमारे पूर्वजों ने अपनी कलाकृति के माध्यम से अपनी गाथाओं और रहन सहन को चिंत्रों और कलाकृतियों के माध्यम से हम सभी को ज्ञात करवाया है।

1.भीमबेटका कहाँ पर स्थित है ? [Bhimbetka caves location]

Bhimbetka की गुफाएं भारत के मध्य प्रदेश राज्य में स्थित है। यह गुफा मध्य प्रदेश के रायसेन जिले में स्थित है।

यह गुफा हमारे पूर्वजों से सम्बंधित है यानि जब से मनुष्य इस धरती पर अपना जीवन शुरू किया है तब से वह इन्ही गुफाओं में रहा करता था और शिकार करता था।

आप सब ने हड़प्पा सभ्यता और सिंधु घाटी सभ्यता का तो नाम सुना ही होगा। इन सभ्यताओं में हमने देखा था की ये सभ्यताएं काफी विकसित थी।

फिर चाहे इनके सड़कों की बात हो या फिर घरों और नालियों की, सभी चीज़ों में ये सभ्यताएं काफी आगे थी।

भीमबेटका की ये गुफाएं विंध्य की पहाड़ियों में स्थित है। यह गुफाएं मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से 46 किमी की दुरी पर स्थित है।

पुरातत्विदों ने बतलाया है की ये गुफाएं नव पाषाण काल से सम्बंधित है। इन गुफाओं की खोज का श्रेय डॉक्टर विष्णु श्रीधर वाकणकर ने अपने साथियों के साथ की थी।

2. भीमबेटका की गुफाओं का इतिहास क्या है ? [Bhimbetka caves history in Hindi]

एक किवंदिति के अनुसार महाभारत में हमें पांचों पांडवो का उल्लेख मिलता है। पांचो पांडव थे- युधिष्ठिर,अर्जुन, भीम, नकुल, सहदेव

इन्ही पांडवों में से एक प्रमुख वीर यानि महाबली भीम के नाम पर इस गुफा का नाम भीमबेटका पड़ा था।

ऐसा माना जाता है की इसी गुफा में महाबली भीम ने अपने अज्ञातवास के दौरान निवास किया था।

All about Bhimbetka rock shelters | भीमबेटका की गुफाओ का इतिहास

साथ ही यही यानि इन्ही गुफाओं में रहकर अपनी शक्तियों में वृद्धि की थी और यही शक्तियों की वृद्धि ने इन्हे महाभारत के विश्वविख्यात युद्ध में विजयी दिलाई।

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3. भीमबेटका की गुफाओं की स्थापत्य कला [Bhimbetka caves architecture]

रायसेन स्थित इस Bhimbetka के गुफाओं में हमें हमारे पूर्वजों द्वारा बनाये गए पेंटिंग्स मिलती है जिन्हे देखकर उस समय के जानवरों और माहौल का अनुमान प्राप्त होता है।

वही इनके बारे में या ज्यादा करीब से देखने के लिए मैंने नीचे की स्लाइड में इन तस्वीरों को लगा दिया है आप उन्हें देख सकते है।

इन गुफाओं की चित्रकारी का अनुमान पुरातत्विदों ने 1000 वर्षों से ज्यादा बताई है। वही इन सभी छोटे-छोटे गुफाओं को मिला दे तो हमें पता चलता है की इनकी संख्या लगभग 500 है।

4. भीमबेटका के कुछ प्रमुख तथ्य [Some facts about Bhimbetka caves]

  • भीमबेटका की गुफा महाभारत के महाबली भीम के नाम पड़ा था
  • ये गुफाये १००० वर्षों से भी ज्यादा प्राचीन है.
  • इन गुफाओं की कुल संख्या है 500
  • भीमबेटका की गुफाएं विंध्याचल की पहाड़ियों पर स्थित है
  • इन गुफओं की खोज का श्रेय इन गुफाओं की खोज का श्रेय डॉक्टर विष्णु श्रीधर वाकणकर को जाता है.

6. भीमबेटका की कुछ तस्वीरें [Bhimbetka caves photo]

7. निष्कर्ष [Conclusion]

दोस्तों Bhimbetka की गुफाओं के द्वारा हम अपने पूर्वजो के रहन सहन उनके संसाधन और जिव जंतुओं के बारे में उनके द्वारा बनायीं गयी कलाकृति के माध्यम से जान पते है।

चूँकि यह गुफा एक प्राचीन सम्पदा है इसलिए इस गुफा यूनेस्को द्वारा विश्व विरासत स्थल की सूचि में रखा गया है। इस प्रकार से इस गुफा को संरक्षित रखने का प्रयास किया है।

चूँकि यहाँ पर ज्यादातर पेंटिंग है और जाहिर है की आप सभी पेंटिंग को समझ नहीं पाओगे इसलिए बेहतर है की आप एक गाइड रखा ले जो आपको न सिर्फ इस जगह के इतिहास के बारे में बतायेगें बल्कि इस गुफा की प्रत्येक बारीक़ से बारीक़ चीज़ों को बताएँगे। जो जाहिर है आपके ज्ञान में वृद्धि करेगा।

भीमबेटका गुफा का मैप [Bhimbetaka cave map]

8. सबसे महत्वपूर्ण बात [Most important thing]

दोस्तों इन ऐतिहासिक इमारतों या पर्यटन स्थलों पर टिकट के पैसा, यात्रा अवधी जैसे छोटी चीज़ें बदलती रहती है। इसलिए यदि आपको इनके बारे में पता है तो जरूर कमेंट में जरूर बताएं हम जल्द ही आपके द्वारा दी गयी जानकारी को अपडेट कर देंगे।

यदि इस पोस्ट में कुछ गलती रह गयी हो तो उसे कमेंट में जरूर बताएं।

धन्यवाद !

5. सवाल जवाब [FAQ]

1. भीमबेटका गुफा कहाँ पर स्थित है ?

यह गुफा मध्य प्रदेश के रायसेन जिले में स्थित है।

2. इस गुफा तक पहुंचने का सबसे सीधा और किफायती साधन बताएं ?

भीमबेटका गुफा घूमने जाने के लिए बस सबसे अच्छा और किफायती साधन है। इसका प्रयोग आप आसानी से कर पाएंगे।

3. यह भोपाल से कितनी दुरी पर स्थित है ?

भीमबेटका गुफा भोपाल से लगभग 46 km की दुरी पर स्थित है।

4. इस गुफा का नाम भीमबेटका क्यों है ?

इस गुफा का नाम महाभारत के पांडवो यानी भीम के नाम पर इसका नाम भीमबेटका पड़ा है।

5. क्या यहाँ पर रात में ठहर सकते है ?

नहीं भाई यह गुफा शाम 6 बजे तक बंद हो जाता है और चूँकि यह एक गुफा है तो जंगली जानवरों का खतरा भी रहता है। बेहतर होगा की आप किसी होटल या लांज में रात बिताएं।

6. भीमबेटका गुफा को किस व्यक्ति ने खोजा था ?

भीमबेटका गुफा की खोज डॉक्टर विष्णु श्रीधर वाकणकर ने किया था।

7. भीमबेटका में कुल कितने गुफाये है ?

भीमबेटका में गुफाओं की संख्या 500 है।

8. भारत की सबसे पुरानी गुफा पेंटिंग का नाम बताइये ?

भारत में सबसे पुरानी गुफा पेंटिंग हमें भीमबेटका की गुफाओं में देखने को मिलती है।

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